अपने पिता के आदेशों की अवहेलना करते प्रह्लाद ने नरसिंघ को अवतरित किया | होलिका दहन होकर होली त्यौहार की परंपरा आरम्भ की | यदि भगवन विष्णु जगत के पालन हार हैं ,उनका नाम जपना सिर्फ इसलिए पाप होता कि भगवन विष्णु राक्षशों के शत्रु माने जाते हैं | जगत के पालन हार होना क्या नगण्य होगा | .………………………………………………………...प्रह्लाद के कलियुगी रूप शशि थरूर जी यदि भारत देश के ही नहीं विश्व के पालन हार होते नरेंद्र मोदी जी का जप नमो नमो से कर रहे हैं तो सत्य को भविष्य मैं देख कर ही तो कर रहे हैं | कितने कृतार्थ हुए थे जब मोदी जी ने उनको झाड़ू थमा दी थी | भक्ति किसी की गुलाम नहीं होती है ,वह अपने अंतर्मन से जाग्रत हो जाती है | भक्त प्रह्लाद की तरह शशी थरूर जी के मन से उपजी है भक्ति भावना …..| प्रह्लाद को कितना समझाया ,कितना दण्डित किया किन्तु भक्ति भाव नहीं मिटाया जा सका | ………………………………………………………………………………………………..क्या होगा नए रूप मैं जन्मे भक्त की भक्ति का अंत ….| क्या भगवन, पिता कांग्रेस को दंडित करने जन्म ले चुके हैं या नए रूप मैं अवतरित होंगे | भक्ति स्वाभाविक और उपजेगी ,दंड प्रक्रिया और भी कठिन होती जाएगी | अभी तो प्रवक्ता पद से हटाया गया है | आगे क्या होगा ……कुछ कहा नहीं जा सकता …| भक्ति को किसी वाईरस की तरह नहीं होने देगी कांग्रेस …| इसके लिए दंड तो देना ही पड़ेगा ,एक एंटी वाईरस डोज तो देनी ही पड़ेगी | अभी तो भक्ति कहीं कहीं उपजती देखी जा रही है ,जल्द ही भक्ति वाईरस की सघन जांच आवश्यक हो चुकी है कांग्रेस के लिए ,और इलाज भी आवश्यक हो चूका है | अन्यथा नरसिंघ रूप कांग्रेस का जड़ से सफाया कर सकता है ,भगवन की भी यही घोषणा हो चुकी है की अपने भक्त के लिए दुष्ट आसुरी शक्तियों का संहार कर देंगे | ………………………………………………………...नित नए रास रंग मैं रहने के आदी भक्त तब भी महान थे अब भी महानता मैं अपने आराध्य को रिझा सकते हैं | . चौका लगाने का लक्ष हर क्रिकेट खिलाड़ी का होता है | …………………….…भगवन राम के भक्त विभीसन की भक्ति भी अतुलनीय थी ..| राजनीती मैं भी भक्ति की मिसालें रही हैं | हनुमान रूप राजनारायण की भक्ति भी महानता मैं कम नहीं थी | भक्ति किसी पक्ष ,विपक्ष को नहीं देखती | नरेंद्र मोदी जी की गांधी भक्ति भी एक नए प्रह्लाद सी भक्ति होगी | …………………………………………………………………आत्मा परमात्मा का मिलान ही मोक्ष होता है | मोक्ष यानी जन्म मरण से मुक्ति ….|
जो सिर्फ भक्ति मैं तल्लीन होकर से ही मिल सकती है
लगता है शशी थरूर जी का भी राजनीती रूपी जन्म मरण से मुक्ति का समय निकट आ चूका है | भगवन अवश्य ही मोक्ष देकर भक्तों का उद्धार करते रहें | तभी ओम शांती शांति शांति का भास करते पापी पाप मुक्त होते जायेंगे | …………………………………………………………………………………भक्तों को शांति का आभास भक्ति से ही होता है …………..किन्तु मुझ पापी को तो सिर्फ ओम शांति शांति शांति होता है
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